नारद की अनुपस्थिती और अस्थाई जुगाड़

नारद के अस्थाई रूप से बंद होने से हम सभी को ब्लॉक्सीज़न मिलनी बंद हो गई है। ठीक है चिट्ठा विश्व भी है पर यह ब्लॉगडिग्गर की कृपा पर निर्भर रहता है और ब्लॉगडिग्गर महाशय आजकल मनमर्जी से अपडेट होते हैं। आज टेक्नोराती के भ्रमण के दौरान अपने राम को सूझी कि क्यों न उसके […]

पहला भारतीय ब्लॉगकैम्पः संतोषजनक शुरुवात

भारत की कथित ब्लॉग राजधानी में काफी हलचल है, जी नहीं राजनैतिक सरगर्मी नहीं, भारत के सबसे बड़े अनकाँफ्रेस के रूप में प्रचारित पहले ब्लॉगकैंप का ज़िक्र कर रहा हूँ। यह दो दिवसीय विहंगम आयोजन, जिसमें सुलेखा की खासी भादीगारी है, चैन्नई में इस सप्ताहांत हो रहा है, अनेकानेक लोगों की भागीदारी है और विविध […]

तीर निशाने पर

बेंगाणी बंधुओं की मेहनत रंग लाई है और तरकश नये नवेले स्वरूप में समूह बलॉग के रूप में प्रस्तुत किया गया है। तरकश का नया रूप और कलेवर मनोहारी है, छवि की टीम है ही होनहार कलाकारों का जमावड़ा। तरकश में पंकज, संजय और रवि जैसे पुराने खिलाड़ी तो हैं ही, ब्लॉगिंग के बाण साधने […]

७५ लाख पाठक हैं भारतीय भाषाओं की साईट्स के

हालिया इंडिया आनलाईन सर्वे २००६ ब्लॉगजगत के लिये उम्मीदों भरे निष्कर्ष ले कर आई है। इस सर्वे के मुताबिक भारत में तकरीबन २.१ करोड़ इंटरनेट प्रयोक्ता हैं और इनमें से ८५ फीसदी, यानि लगभग १.८ करोड़ ब्लॉग पढ़ते हैं, जिनमें ऐसे लोग भी है जो स्वयं ब्लॉगिंग नहीं करते। आंकड़ें अविश्वनीय लगते हैं पर अगर […]

वर्डप्रेस का आईफ्रेम साईडबार विजेट

वर्डप्रेस साईडबार विजेट ब्लॉगमंडल की हालिया चर्चा के केंद्र रहे हैं। पंकज ने इस पर एक जानकारी-पूर्ण पोस्ट भी लिखी। बिलाशक इन विजेट्स के आगमन से वर्डप्रेस की समकालीन ब्लॉगतंत्रों में लोकप्रियता में चार चाँद लगा दिये हैं और इससे समुदाय की भी भागीदारी बढ़ने के रास्ते खुल गये हैं। विजेट के द्वारा अपने ब्लॉग […]

पर्सनलाईज़्ड जुगाड़

आप जानते होंगे कि गूगल के परंपरागत गृहपृष्ठ को आप पर्सनलाईज़ यानी अपनी पसंद के मुताबिक ढाल सकते हैं। पहले तो खबरों की फीड, आज का शब्द जैसे मॉड्यूल ही उपलब्ध कराये गये थे पर अब आप गूगल की निर्देशिका से सेंकड़ों ऐसे मॉड्यूल्स में से अपना मनपसंद चुन सकते हैं और उसे अपने पर्सनलाईज़्ड […]

वर्डपैटर्न

एक पल के लिये तो यकीन ही हो गया था। जब वर्डप्रेस और टेक्सटपैटर्न के विलय की खबर की कड़ी नुक्ताचीनी के डैशबोर्ड पर देखी तो तुरंत क्लिक किया। फिर रुख किया वर्डपैटर्न की कथित वेबसाईट पर और तभी बजी घंटी। वापस जा कर पोस्ट की तारीख देखी और सर पीट लिया, लगता है कि […]

अभिन्यास विन्यास

अगर आपने हाल में गौर किया हो तो कुछ दिनों से इस चिट्ठे के आखिरी हिस्से में प्रविष्टियों की बजाय उनकी कड़ियाँ दी जा रही हैं। दरअसल यह मलेट अभिन्यास का अनुसरण करता है जिसमें सारी प्रविष्टियों को एक साथ न दिखाकर कुछ को पूर्णतः दिखाया जाता है और शेष की सिर्फ कड़ियाँ दी जाती […]