रोज़ आफिस जाते समय एक नथूने फुलाये सींगधारी से मुलाकात होती है। इसके आसपास पर्यटकों का ताँता लगा रहता है, लोग इसके पीठ पर बैठ, सींगों पर झूल या पूँछ के पास खड़े होकर चित्र खिंचवाते हैं। ये काँसे की बनी साढ़े तीन टन की एक प्रतिमा है जो लोअर मैनहटन में बोलिंग ग्रीन पार्क […]
सतना के यादव जी तो चल लेते हैं। पर ये महाशय ज्यादा अच्छा चल लेते हैं 🙂
न्यूयार्क में हर साल भारत के स्वतंत्रता दिवस यानि 15 अगस्त के पश्चात पहले सप्ताहांत में भारत दिवस मनाया जाता है जिसके अंतर्गत होती एक विशाल परेड और सांध्यकालीन रंगारंग कार्यक्रम। परेड मेडीसन एवेन्यू पर 23 से 41 स्ट्रीट के बीच होती है। आज दोपहर बाद बूंदाबांदी का पूर्वानुमान लगाया गया था पर हल्की बारिश […]
छायाः अक्षय महाजन एक बात कहूं?बचपन के दिन अच्छे थे।कान उमेठे जाने पर दर्द तो होता थापर वो शरारतों में नहीं उतरता था।कान तो अब भी उमेठे जाते हैंपर दर्द ज़रा नहीं होता।अब शरारत करने से जी घबराता है। एक बात कहूं?बचपन के दिन अच्छे थे।लड़ते थे, रोते थे, रुलाते भी थेऔर कुट्टी की उम्र […]
अमरीका आने के बाद भारतियों को सबसे अधिक तकलीफ किस चीज़ से होती होगी? मेरा तजुर्बा है, उस चीज से जिस के प्रयोग के बाद हम बिना धोये रह नहीं पाते। अरे भैया वही जिसे साफ रखने के लिये ये फिरंगी काग़ज से काम चला लेते हैं। सरजी मैं हाथों की बात नहीं कर रहा! […]